Ovulation क्‍या है और कब होती है इस पीरियड की शुरुआत जाने श्रद्धा शर्मा से ‌--------

  नमस्कार दोस्तो मै श्रद्धा शर्मा आपका स्वागत करती हूँ , healthworkershraddha  की एक नई पोस्ट पर ----------

जानते है  कि - 

Ovulation क्‍या है और कब होती है इस पीरियड की शुरुआत






ओव्यूलेशन एक मासिक प्रक्रिया है जब आपके अंडाशय में से एक अंडा जारी करता है। इसके बाद, अंडा एक फैलोपियन ट्यूब के माध्यम से यात्रा करता है जहां एक शुक्राणु कोशिका इसे निषेचित कर सकती है या नहीं। यह मासिक धर्म चक्र का मुख्य बिंदु है। ओव्यूलेशन के बाद क्या होता है यह इस बात पर निर्भर करता है कि शुक्राणु कोशिका अंडे को निषेचित करती है या नहीं।

यदि शुक्राणु कोशिका अंडे को निषेचित करती है, तो यह गर्भाशय में चली जाती है जहां यह खुद को अस्तर में लगाती है, जिसके परिणामस्वरूप गर्भावस्था होती है। यदि शुक्राणु अंडे को निषेचित नहीं करता है, तो यह अंततः विघटित हो जाता है और आपका शरीर गर्भाशय की परत को छोड़ देता है, जिसे आप 'पीरियड' के रूप में जानते हैं। 

चाहे आप गर्भवती होने की कोशिश कर रही हों या अवांछित गर्भधारण को रोकना चाहती हों, ओव्यूलेशन के बारे में जानना, यह कब होता है, और आप इसे कैसे ट्रैक कर सकते हैं, यह आपकी मदद कर सकता है। इसके अलावा, अपने मासिक धर्म चक्र पर बारीकी से नज़र रखने से यह जानने की आपकी क्षमता में सुधार हो सकता है कि कुछ गलत है, जो विशिष्ट चिकित्सा मुद्दों के निदान में फायदेमंद है।




ओवुलेशन मासिक चक्र का एक हिस्‍सा है। जब ओवरी में एग रिलीज होता है, तब ओवुलेशन होता है। ओवरी में अंडे के रिलीज होने पर वह स्‍पर्म से फर्टिलाइज हो भी सकता है और नहीं भी। अगर अंडा ओवरी से गर्भाशय में आकर इंप्‍लांट हो जाता है तो प्रेग्‍नेंसी शुरू होती है। यदि अंडा फर्टिलाइज नहीं होता है तो एग टूट जाता है और पीरियड्स के दौरान यूट्राइन लाइनिंग गिरने लगती है।
गर्भधारण करने या प्रेग्‍नेंसी को रोकने के लिए ओवुलेशन कैसे और कब होता है, ये समझना जरूरी है। इसकी मदद से महिलाएं कुछ स्‍वास्‍थ्‍य स्थितियों का पता भी लगा सकती हैं।

कब शुरू होता है ओवुलेशन

महिलाओं का मासिक चक्र 28 से 32 दिनों का होता है। हर महीने मासिक चक्र पीरियड के पहले दिन से गिना जाता है। आमतौर पर एग अगले पीरियड से 12 से 26 दिन पहले रिलीज होता है। अधिकतर महिलाओं को माहवारी 10 से 15 साल की उम्र में शुरू हो जाती है। वहीं, ओवुलेशन मेनोपॉज यानी 45 से 50 की उम्र या इसके बाद होता है।

मासिक चक्र के मध्‍य के चार दिन पहले और चार दिन बाद ओवुलेशन शुरू होता है।


कब तक रहता है ओवुलेशन

ओवुलेशन की प्रक्रिया की शुरुआत शरीर में फॉलिकल स्टिमुलेटिंग हार्मोन यानी एफएसएच के रिलीज से होती है। ये मासिक चक्र के 6 से 14वें दिन के बीच होता है। एफएसएच ओवरी के अंदर अंडे को मैच्‍योर होने में मदद करता है ताकि वो आगे जाकर भ्रूण का रूप ले सके।

अंडे के मैच्‍योर होने पर शरीर में ल्‍यूटिनाइजिंग हार्मोन यानी एलएच रिलीज होता है जो कि एग के रिलीज को ट्रिगर करता है। एलएच के बढ़ने के 28 से 36 घंटे के बाद ओवुलेशन शुरू हो सकता है।

ओव्यूलेशन के लक्षण





इस अवधि के दौरान, आपके लिए विभिन्न प्रकार के ओवुलेशन लक्षणों का अनुभव करना संभव है। प्रत्येक महिला इन लक्षणों को अलग-अलग तीव्रता से महसूस करती है।

ये सबसे आम ओवुलेशन लक्षण हैं:

  • सरवाइकल म्यूकस में बदलाव
  • गंध की बढ़ी हुई भावना
  • स्तन दर्द या कोमलता
  • पैल्विक या पेट दर्द
  • लाइट स्पॉटिंग या डिस्चार्ज
  • कामेच्छा में परिवर्तन
  • गर्भाशय ग्रीवा में परिवर्तन।



क्‍या सिर्फ ओवुलेशन पीरियड में प्रेगनेंट हो सकते हैं

ऐसा नहीं है कि महिलाएं केवल ओवुलेशन पीरियड में ही गर्भधारण कर सकती हैं। एग रिलीज होने के 12 से 24 घंटे के अंदर ही फर्टिलाइज हो सकता है, स्‍पर्म कुछ विशेष स्थितियों में महिलाओं के प्रजनन मार्ग में 5 दिनों तक रह सकता है।

इसलिए अगर आप ओवुलेशन के दौरान या ओवुलेशन के दिन ही सेक्‍स करती हैं तो आप प्रेगनेंट हो सकती हैं।


ओवुलेशल में कितनी बार सेक्‍स करने से प्रेगनेंट होते हैं

प्रेगनेंट होने के लिए सिर्फ फर्टाइल विंडो के दौरान सेक्‍स करने की जरूरत होती है। फटाईल विंडो 6 दिन की होती है। इसमें ओवुलेशन वाला दिन और एग रिलीज होने के बाद स्‍पर्म के प्रजनन मार्ग में रहने वाले 6 दिन शामिल हैं। ये वही पीरियड होता है जब सेक्‍स करने से गर्भधारण हो सकता है।

बच्‍चे के लिए कोशिश कर रहे कपल्‍स को फर्टाइल विंडो के हर दिन या एक दिन छोड़कर एक दिन सेक्‍स करने से कंसीव करने की संभावना काफी बढ़ सकती है।

गर्भधारण करने के लिए ओवुलेशन वाला दिन और इसके बाद के दो दिन सबसे सही होते हैं।

अगर ओवुलेशन न हो तो


अगर आपको हर महीने समय पर पीरियड नहीं आ रहे हैं तो हो सकता है आपका ओवुलेशन अनियमित हो या कुछ मामलों में ऐसा भी हो सकता है कि ओवुलेशन हो ही नहीं रहा हो। इस स्थिति में आपको डॉक्‍टर को दिखाना चाहिए।

इसके अलावा तनाव और डायट का असर भी हर महीने के ओवुलेशन पर पड़ता है। पॉलीसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम या एमेनोरिया की वजह से भी ओवुलेशन अनियमित या पूरी तरह से बंद हो सकता है।

इन स्थितियों के कारण हार्मोनल असंतुलन, चेहरे और शरीर पर अनचाहे बाल आना, एक्‍ने और यहां तक कि बांझपन भी हो सकता है।

  • इस पोस्ट   मै इतना ही  उम्मीद है कि  इस्से आपको मदद मिले!  healthworkershraddha.


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